लाउडस्पीकर में अज़ान पाठ बिबाद अब ओड़िशा में

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लाउडस्पीकर

Report : Odisha News 24//

भुबनेश्वर, (29/05) : लाउडस्पीकर में अज़ान पाठ बिबाद अब ओड़िशा में आरम्भ हो गया है। लाउडस्पीकर से अज़ान पाठ के खिलाफ ओड़िशा के भद्रक जिला भाजपा महिला मोर्चा अध्यक्षा हरप्रिया साहू ने जिला पुलिस अधीक्षक के माध्यम से जिलाधिकारी के समक्ष ज्ञापन सोपा है ।

भारत एक धर्मनिरपेक्ष, लोकतांत्रिक राष्ट्र है । यहां सभी धर्मों और प्रत्येक नागरिक का समान अधिकार है । प्रत्येक धर्म के लिए अपना प्रार्थना महान है । लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि कोई अपना प्रार्थना/अज़ान ज़बरन लाउडस्पीकर में दूसरों को सुनाए । उनकी अज़ान पाठ भला हम क्यों सुने ? अपना अज़ान खुद पढ़ें, खुद सुनें । दूसरों की शांति भंग न करें । मैं किसी धर्म का विरोध नहीं करता । जो उचित है, उसका पालन हो । वह आपने तरफ से इसका प्रतिकार करें या फिर जिला प्रशासन और पुलिस इस दिशा में आवश्यक कदम उठाने की हरप्रिया साहू ने मांग की है ।

हरप्रिया सवाल करती है कि यहाँ भाईचारा बिगड़ने या सांप्रदायिकता का मुद्दा कहां से आता है ? कुछ, इसे सांप्रदायिकता के रूप देने की कोसिस कर रहे हैं । लेकिन यहां ध्वनि प्रदूषण की बात हो रही है । दूसरों की शांति भंग करने की बात हो रही है । रीति- रिवाजों और परंपराओं के नाम पर, बुरी आदतों और गलत परंपराओं की बात हो रही है । एकदा बाल विवाह, तीन तलाक आदि रीति- रिवाज और परंपराएं थीं । आज यह एक बुरी परंपरा है । रीति- रिवाजों और परंपराओं के नाम पर शोर मचाना, दूसरों की शांति भंग करना एक बुरी परंपरा है ।

आधुनिक सभ्यता के प्रभाव में व्यक्ति दिन भर उथल-पुथल में रहता है । कम से कम सुबह, शाम या देर रात में शांत क्षणों को शांत रखा जा सकता है । सुप्रीम कोर्ट ने ध्वनि प्रदूषण के गंभीर प्रभावों का हवाला देते हुए सार्वजनिक स्थानों पर रात १० बजे से सुबह ६ बजे के बीच लाउडस्पीकर के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगा दिया है । दसरा, ईद और क्रिसमस की बात अलग है । लेकिन हर दिन, हर सुबह लाउडस्पीकर पर जोर- जोर से चिल्लाकर अज़ान पाठ करके लोगों की शांति भंग करने की वैधता पर हरप्रिया साहू ने सवाल उठाया है ।